Allahabad University : छात्र संघ बहाली को तरस रहा देश को 3 प्रधानमंत्री देने वाला विश्वविद्यालय, लगातार आंदोलन कर रहे छात्र

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छात्र संघ को लेकर हमेशा से ही एक प्रश्न खड़ा होता आया है कि विश्वविद्यालयों में आखिर छात्र संघ की आवश्यकता ही क्यों है ? पठन-पाठन के लिए विश्वविद्यालय की स्थापना की जाती है तो उसमें राजनीति का स्थान क्यों आवश्यक है, तो इसका जवाब आपको उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में स्थित ‘इलाहाबाद विश्वविद्यालय’ देता है। जहां इस विश्वविद्यालय ने देश को 3 प्रधानमंत्री और ना जाने कितने सीएम और मंत्री प्रदान किए हैं।

अगर विद्यार्थियों को ही राजनीति से अलग कर दिया जाए तो आखिर राजनीति के प्रति जागरूकता विद्यार्थियों में कैसे आएगी ? भारत के युवा राजनीति को कैसे जान पाएंगे ? इस भारत देश को शिक्षित नेता कैसे मिलेंगे ? अगर भारत देश को शिक्षक नेताओं की आवश्यकता है तो विश्वविद्यालयों में छात्रसंघ होना अनिवार्य करना चाहिए जिससे कि हर छात्र के अंदर और राजनीति की रुचि बढ़े और देश सही दिशा में अग्रसित हो।

देश को 3 तो वहीं विदेश को दिया 1 प्रधानमंत्री (3 to the country and 1 prime minister to the foreign country)

उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में स्थित केंद्रीय विश्वविद्यालय इलाहाबाद विश्वविद्यालय जो कि देश में राजनीति की पौध कहा जाता है। इलाहाबाद विश्विद्यालय ने देश को 3 तो वहीं विदेश को भी 1 प्रधानमंत्री दिया है। इलाहाबाद विश्वविद्यालय से 1949 में छात्र संघ का चुनाव जीते वीपी सिंह आगे चलकर भारत के 8 वें प्रधानमंत्री चुने गए। इसके बाद इलाहाबाद विश्वविद्यालय से ही शिक्षा प्राप्त करने वाले चंद्रशेखर भी आगे चलकर देश के 9 वें प्रधानमंत्री बने। इनके साथ ही कार्यवाहक प्रधानमंत्री की भूमिका निभाने वाले गुलजारीलाल नंदा भी इलाहाबाद विश्वविद्यालय के ही छात्र रहे। वहीं देश को तीन प्रधानमंत्री देने के साथ साथ इलाहाबाद विश्वविद्यालय ने नेपाल को भी एक प्रधानमत्री दिया। नेपाल के तत्कालीन प्रधानमंत्री सूर्य बहादुर थापा भी इसी इलाहाबाद विश्वविद्यालय के छात्र थे।

प्रदेशों को सीएम देने के मामले में भी रहा है यह विश्वविद्यालय टॉप (This university has also been top in the matter of giving CM to the states)

पूरब का ऑक्सफोर्ड कहे जाने वाले संगम नगरी में स्थित इलाहाबाद विश्वविद्यालय ने देश को 3 प्रधानमंत्री तो दिए ही, साथ ही इलाहाबाद विश्वविद्यालय ने कई सीएम भी प्रदेशों को दिए हैं। जिसमें इस विश्वविद्यालय ने यूपी को रिकॉर्ड 5 सीएम दिए। जिसमें वी पी सिंह, गोविंद बल्लभ पंत, हेमवती नंदन बहुगुणा, एन डी तिवारी और राम प्रकाश गुप्त शामिल हैं। वहीं मध्यप्रदेश को भी अर्जुन सिंह के रूप में इलाहाबाद विश्वविद्यालय ने मुख्यमंत्री प्रदान किया। इसके साथ दिल्ली को मदन लाल खुराना, उत्तराखंड के सीएम रहे विजय बहुगुणा और बिहार को सत्येन्द्र नारायण सिन्हा के रूप में इस विश्वविद्यालय ने सीएम प्रदान किए।

छात्र संघ बहाल को तरस रहा देश को तीन पीएम देने वाला इलाहाबाद विश्वविद्यालय (Allahabad University, which gives three PMs to the country, yearns to restore the student union)

देश को 3 प्रधानमंत्री और कई मुख्यमंत्री देने वाला, राजनीति की पौध कहा जाने वाला इलाहाबाद विश्वविद्यालय आज छात्र संघ की बहाली को तरस रहा है। जिस विश्वविद्यालय ने देश को 3 प्रधानमंत्री और कई मुख्यमंत्री देकर राजनीति की एबीसीडी सिखाई हो, आज उसी विश्वविद्यालय में छात्र संघ पर प्रतिबंध लगा हुआ है। दरअसल यह प्रतिबंध 29 जून 2019 को इलाहाबाद विश्वविद्यालय के तत्कालीन कुलपति प्रोफेसर रतन लाल हांगलू ने कार्य परिषद की बैठक में छात्रसंघ चुनाव पर प्रतिबंध लगाया गया था। छात्र संघ पर लगे इस प्रतिबंध को हटाने की उसी वक्त से छात्रों द्वारा आंदोलन के माध्यम से मांग की जा रही है।

 

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